कौशाम्बी लोकसभा सीट से वाचस्पति का नाम आते ही सियासी गलियारे में मचा हड़कम्प।
- Posted By: Anil Kumar
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- Updated: 13 January, 2024 20:36
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प्रकाश प्रभाव न्यूज़
रिपोर्ट-अनिल कुमार
कौशाम्बी लोकसभा सीट से वाचस्पति का नाम आते ही सियासी गलियारे में मचा हड़कम्प।
भारतीय जनता पार्टी से कौशाम्बी सीट से टिकट मांगने वाले संभावित लोकसभा प्रत्याशियों में मची खलबली
वाचस्पति और मधु पति का नाम सुनते ही कपकपाती ठंड में भी लोकसभा कौशांबी सीट से भाजपा के बैनर तले दावेदारी करने वाले तमाम नेताओं को रात में पसीने आने लगे हैं
कौशाम्बी। लोकसभा सीट कौशाम्बी से दो बार से लगातार विनोद सोनकर भाजपा के बैनर तले सांसद चुने जाते रहे लेकिन अपने कठोर वचन के चलते जनता के बीच उनकी पकड़ कमजोर होती दिखाई पड़ रही है ।
यह बात पार्टी हाई कमान तक भी पहुंच चुकी है। लोगों को धमकी देकर दबाव बनाकर प्रताड़ित करके लोगों पर शासन करने की नीति के चलते आम जनता अब इनको पसंद नहीं कर रही है। जिससे एन वक्त पर पार्टी में टिकट बदल जाने की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता है।
इस बार के लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी से संभावित प्रत्याशियों की लंबी सूची दिखाई पड़ रही है । पार्टी भी जिताऊ और टिकाऊ प्रत्याशी को टिकट देने के प्रयास में लगी है जिसमें वाचस्पति खरे उतरते दिखाई पड़ रहे हैं। राजनीति में बड़ी पकड़ के बाद वाचस्पति कौशांबी के जनप्रिय नेता माने जाते हैं वर्तमान सांसद विनोद सोनकर जहां भाजपा से टिकट के प्रबल दावेदार है।
वहीं पूर्व विधायक लाल बहादुर पूर्व सांसद शैलेंद्र कुमार के साथ-साथ पूर्व ब्लॉक प्रमुख जितेंद्र सोनकर पूर्व में सपा नेता रहे शीतल सोनकर भी भाजपा से टिकट के दावेदारो की लिस्ट में शामिल बताए जाते है पूर्व भाजपा जिला अध्यक्ष रमेश पासी बीते कई चुनाव से भारतीय जनता पार्टी से टिकट के दावेदार है लेकिन प्रत्येक बार रमेश पासी को एंन वक्त पर पार्टी किनारे लगा देती है ।
गुरुवार को अचानक वाचस्पति ने अपनी पत्नी मधु पति के साथ सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात की है। वाचस्पति और मधुपति की मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से यह मुलाकात राजनीतिक गलियारे में अहम मानी जाती हैं। वाचस्पति का कौशांबी क्षेत्र में हमेशा दबदबा रहा है। सरल स्वभाव मृदु भाषी वाचस्पति का कौशांबी की राजनीतिक क्षेत्र में मजबूत पकड़ है और पासी बिरादरी से रिश्ता रखने के चलते पासी मतदाताओं का भी बड़ा समर्थन वाचस्पति को हमेशा मिलता रहा है।
आने वाले दिनों में भी पासी मतदाताओं का समर्थन वाचस्पति को मिलना तय है जिससे सपा प्रत्याशियों की मुश्किलें बढ़ना आता है। पासी बिरादरी के मतदाताओं पर वर्तमान सांसद विनोद सोनकर की पकड़ कमजोर है और पार्टी इसी के चलते आने वाले लोकसभा चुनाव में प्रत्याशी बदलने की तैयारी में दिखाई पड़ रही। बहुजन समाज पार्टी से एक बार वाचस्पति विधायक रह चुके हैं और एक बार समाजवादी पार्टी से भी वाचस्पति विधायक रह चुके हैं।
उनकी पत्नी मधुपति पति दो बार जिला पंचायत की अध्यक्ष रह चुकी हैं वर्तमान में वाचस्पति प्रयागराज के बारा विधानसभा से भाजपा अपना दल एस गठबंधन से विधायक हैं। मुख्यमंत्री से वाचस्पति की मुलाकात के बाद यह कयास लगाए जाने लगा है कि कौशांबी की सीट अपना दल एस के खाते को भाजपा टेकर लोकसभा प्रत्याशी उतार कर पासी मतदाताओं पर सेंध करने की तैयारी कर सकती है । एक विशेष वार्ता में वाचस्पति ने कहा है कि मुख्यमंत्री ने उन्हें चुनाव की तैयारी में लगे रहने का आश्वासन दिया है और वह लोकसभा कौशांबी सीट से चुनाव की तैयारी में लगे हैं । उन्होंने समर्थकों को भी तैयारी के लिए निर्देशित कर दिया है हालांकि इस सीट पर एक रिटायर्ड आईपीएस अफसर भी तेजी से लगे हुए हैं हालांकि जितेंद्र सोनकर शीतला प्रसाद सोनकर रमेश पासी और शैलेंद्र कुमार का कौशांबी लोकसभा सीट में वर्चस्व नहीं दिखाई पड़ रहा है। जनता इन्हें बुझे दीपक की तरह मानती है । यह केवल पार्टी के नाम पर अपनी दावेदारी करना चाहते हैं। लगातार आम जनता से दूरी बनाए रखने के चलते इन नेताओं की आम जनता से नजदीकी खत्म हो चुकी है राजनीति के क्षेत्र में धुरंधर समझे जाने वाले वाचस्पति का नाम चर्चा में आते ही कौशांबी लोकसभा सीट पर हलचल तेज हो गई है। समाजवादी पार्टी के संभावित दावेदार भी बेचैन दिखाई पड़ रहे हैं। तमाम नेताओं की बेचैनी बढ़ गई है। वाचस्पति और मधु पति का नाम सुनते ही कपकपाती ठंड में भी लोकसभा कौशांबी सीट से भाजपा के बैनर तले दावेदारी करने वाले तमाम नेताओं को रात में पसीने आने लगे हैं।
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