ताड़का बध होते ही देवताओं ने भगवान राम पर पुष्पवर्षा कर की स्तुति
- Posted By: Mithlesh Kumar
- राज्य
- Updated: 27 October, 2021 16:42
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प्रकाश प्रभाव न्यूज़
कौशाम्बी। 27-10-2021
मिथलेश कुमार (मोनू साहू)
ताड़का बध होते ही देवताओं ने भगवान राम पर पुष्पवर्षा कर की स्तुति
कौशाम्बी। उदहिन बाजार में चल रही दस दिवसीय रामलीला कार्यक्रम के तीसरे दिन ताड़का बध की लीला दिखाई गई। ताड़का बध होते ही भगवान राम जी के ऊपर देवताओं ने पुष्पवर्षा कर उनकी स्तुति की। राजा दशरथ के चार पुत्रों के विषय में जैसी ही विश्वामित्र मुनि को जानकारी मिली, विश्वामित्र मुनि राजा दशरथ के पास आए और उनसे कहा कि हमारे आश्रम के आसपास तमाम राक्षस उत्पात मचाते हैं और हमारे यज्ञ कार्य को सफल नहीं होने देते साथ ही ऋषि मुनियों को बहुत सताते हैं। उनसे उत्पात से मुक्ति के लिए हम दस दिन के लिए राम एवं लक्ष्मण को आश्रम ले जाना चाहते हैं। राजा दशरथ विश्वामित्र मुनि की बात सुनकर विचलित हो उठे और राम एवं लक्ष्मण को आश्रम भेजने से मना कर दिया।
राजा दशरथ के अस्वीकार करने से कृद्घ होकर विश्वामित्र मुनि अयोध्या पूरी को नष्ट कर देने का श्राप देने का विचार किया। जैसे ही यह सूचना मुनि वशिष्ठ जी को हुई, मुनि वशिष्ठ जी राजा दसरथ को समझाया और कहा कि विश्वामित्र मुनि के साथ राम एवं लक्ष्मण जी को यज्ञ संपन्न कराने के लिए दस दिन विश्वामित्र आश्रम भेज दें। अंततः राजा दशरथ राम और लक्ष्मण को दस दिन के लिए विश्वामित्र मुनि के साथ उनके आश्रम भेजने को सहमत हो गए।
विश्वामित्र मुनि राम एवं लक्ष्मण को साथ लेकर जंगल के रास्ते अपने आश्रम की ओर चल पड़े। रास्ते में उन्हें सुबाहु नाम का विकराल राक्षस मिला, जिसे भगवान राम ने एक ही वाण से धराशाई कर दिया। और आगे चलने पर जंगल में ताड़का राक्षसी मिली। ताड़का राक्षसी के आतंक से जंगल के ऋषि, मुनि कोल, भील सभी परेशान और भयभीत रहते थे। मुनि विश्वामित्र ने भगवान राम को ताड़का राक्षसी के आतंक के बारे में बताया। भगवान राम और विश्वामित्र मुनि की बातों को सुनकर ताड़का राक्षसी भड़क उठी और राम चन्द्र जी को खाने दौड़ी। इसपर राम और ताड़का राक्षसी का युद्ध हुआ। युद्ध में भगवान राम ने ताड़का राक्षसी का वध कर दिया। ताड़का राक्षसी के बध होते ही देवताओं ने भगवान राम के ऊपर पुष्प वर्षा कर उनकी स्तुति की। इसके बाद भगवान राम, लक्ष्मण विश्वामित्र मुनि के आश्रम पहुंचे और तमाम राक्षसों का बध करके उनका यज्ञ का कार्य संपन्न कराया।
रामलीला मंचन के तीसरे दिन कार्यक्रम आयोजक अजय सोनी जिला पंचायत सदस्य ने अपने संदेश में कहा कि हमें सदैव समर्पित होकर भगवान का गुणगान करना चाहिए। रामलीला देखने से हमें जीवन की तमाम बड़ी परेशानियों से मुक्ति का उपाय एवं मार्ग प्राप्त होता है। इस अवसर पर जीतू केसरवानी, डॉ राजेंद्र प्रसाद, राम बाबू सोनकर, बृजेन्द्र तिवारी, दशरथ लाल दिवाकर राजेश केसरवानी, हिमांशु केसरवानी, विकास मिश्रा आदि मौजूद रहे।
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