किसानों की आय दुगनी करने का वादा आज भी अधूरा है - सुनील सिंह

किसानों की आय दुगनी करने का वादा आज भी अधूरा है - सुनील सिंह

PPN NEWS

25 जनवरी 2022


किसानों की आय दुगनी करने का वादा आज भी अधूरा है - सुनील सिंह



लखनऊ के केंद्रीय कार्यालय में वार्ता के दौरान लोकदल के राष्ट्रीय अध्यक्ष चौधरी सुनील सिंह ने कहा है कि किसान आंदोलन में एक ही पार्टी ने संघर्ष किया वह है किसानों की पार्टी लोकदल।  



श्री सिंह ने आगे कहा है कि किसान आंदोलन की लड़ाई में सपा हो बसपा हो या भाजपा हो किसी ने भी किसानों का साथ नहीं दिया। 700 किसान शहीद हुए 700 किसानों के शहीद होने की लड़ाई भी लोकदल किसानों के महाआंदोलन में कंधे से कंधा मिलाते हुए  लड़ता रहा है। जिसको सरकार ने नजरअंदाज किया यह उनके द्वारा दिखाएंगे सत्ता के घमंड को दिखाता है पूरे आंदोलन में सरकारों किसान आंदोलन पर एक बार भी प्रतिक्रिया नहीं दी। किसानों को नफरत की भावना से देखने का काम करते रहे

सपा और भाजपा दोनों  मिले हुए हैं. ये दोनों एक ही सिक्के के दो पहलू हैं और मिलकर काम कर करते हैं. सपा और भाजपा मिलकर योजनाएं बनाते हैं और एक दूसरे के प्रति जानबूझकर भड़काऊ भाषण देते हैं, ताकि उन्माद फैले. भाजपा की सरकार से महिलाएं, युवा, बेरोजगार सभी लोग दुखी हैं।


भाजपा के द्वारा आयोजित डिजिटल कार्यक्रमों पर भी सवालिया निशान खड़ा किया और कहा कि इनके पास पैसा है और ताकत है इसलिए यह लगातार रोजाना कार्यक्रम कर रहे हैं. उन्होंने कहा, वर्चुअल रैली डिजिटल प्लेटफॉर्म पर करोड़ों रुपए खर्च कर रहे हैं और वह लोगों को बुलाकर दूसरी पार्टियों को गालियां बक रहे हैं और वोट मांग रहे हैं। सिंह ने यह भी कहा है कि लोक दल एक पार्टी है जनता के दिलों में है।


जनता के दिलों में उत्तर प्रदेश के कई राजनैतिक दल अपने वोट बैंक सहेज कर रखने के लिए अंग्रेजों से भी बढ़ कर निकल रहे है। इन दलों ने अब तक न सिर्फ समाज में नफरत का बीज बोया बल्कि मुसालमान से हिंदू और हिंदू से मुसालमान को लड़वा कर अब तक सूबे मे सत्ताधीश बने बैठे है। 20% वोट के ठेकेदार बने बैठे हैं।


उन्होने कहा कि लोकदल का मानना है कि क्या सभी धर्म के लोग एक होकर सिर्फ भारतीय बन कर नहीं रह सकते। ज़रा सोचिए अगर सभी के बीच मोहब्बत होगी तो वह हिंदुस्तान कितना खूबसूरत होगा। हम तरक्की की सीढ़ीयां चढ़ने लग जाएंगें, नजाने हमारे कितने विवाद खुद बखुद खत्म हो जाएंगें। एकता सब चाहते हैं मगर कोशिशें कुछ लोग ही करते हैं। इस नफरत भरे तूफानी माहौल में मोहब्बत का चिराग जलाने के लिए लोकदल समान विचारधारा में तीसरा विकल्प देकर 2022 विधानसभा में सामजिक समरसता और सम भाव स्थापित करने का काम करेगा।


Comments

Leave A Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *