नायब नाजिर की हत्या से वकीलों तथा कर्मचारियों में उबाल, विरोध का स्वर हुआ तेज

नायब नाजिर की हत्या से वकीलों तथा कर्मचारियों में उबाल, विरोध का स्वर हुआ तेज

प्रतापगढ 




04.04.2022




रिपोर्ट--मो.हसनैन हाशमी



नायब नाजिर की हत्या से वकीलों तथा कर्मचारियों मे उबाल, विरोध का सुर हुआ तेज 



प्रतापगढ़।लालगंज तहसील मे तैनात नायब नाजिर हत्याकांड को लेकर सोमवार को अधिवक्ताओं तथा कर्मचारियों मे यहां जमकर उबाल देखा गया। नाराज कर्मचारियों ने तहसील मे तालाबंदी कर दी तो कर्मचारियों के समर्थन मे सड़क पर उतरे वकीलों ने प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। नाराज अधिवक्ता तथा कर्मचारी नायब नाजिर सुनील शर्मा की हत्या के आरोपी एसडीएम रहे ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह की बर्खास्तगी व गिरफ्तारी की मांग कर रहे थे। हालांकि शासन ने हत्या का अभियोग पंजीकृत होते ही आरोपी एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है। तहसील मे तैनात नायब नाजिर सुनील शर्मा की तीस अपै्रल को तहसील कालोनी मे तत्कालीन एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह द्वारा डण्डे से पिटाई की गयी थी। इसके चलते तबीयत खराब होने पर पीड़ित नायब नाजिर सुनील शर्मा ने शनिवार की देर शाम जिला अस्पताल मे दम तोड़ दिया। मृतक के बेटे की तहरीर पर आरोपी निलंबित एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह समेत तीन अज्ञात के खिलाफ पुलिस ने हत्या का केस दर्ज किया है। सोमवार को तहसील खुलते ही साथी की बर्बर पिटाई से हुई मौत को लेकर अभी तक आरोपी निलंबित एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह की गिरफ्तारी न होने पर कर्मचारी खफा हो गये। कर्मचारियों ने तहसील के सभी पटलों मे तालाबंदी कर दी। इससे प्रशासनिक व न्यायिक कामकाज ठप हो गया। इधर कर्मचारियों के समर्थन मे वकीलों ने भी आरोपी ज्ञानेंद्र विक्रम सिंह की गिरफ्तारी की मांग को लेकर प्रशासन के खिलाफ तीखे तेवर मे आ गये। नाराज वकीलों ने प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। इस बीच नये एसडीएम अरूण कुमार सिंह भी तहसील पहुंच गये। तहसीलदार जावेद अंसारी के साथ तहसील पहुंचे एसडीएम कर्मचारियों व अधिवक्ताओं के आक्रोश का रूख भांपकर तत्काल निरीक्षण गृह वापस चले गये। विरोध करने वाले अधिवक्ताओं की मांग है कि आरोपी एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह की फौरन गिरफ्तारी हो। विरोध प्रदर्शन करने वालो मे संयुक्त अधिवक्ता संघ के अध्यक्ष राममोहन सिंह, महामंत्री प्रवीण यादव, अनिल महेश, देवी प्रसाद मिश्र, अजय शुक्ल गुडडू, लाल राजेन्द्र सिंह, केबी सिंह, सुरेंद्र सिंह, संतोष सिंह, रामलखन शर्मा, प्रमोद तिवारी, हरिश्चंद्र पाण्डेय, आदि अधिवक्ता रहे। वहीं नायब नाजिर की हत्या के तीसरे दिन भी फरार हुए निलंबित एसडीएम ज्ञानेन्द्र विक्रम सिंह का कहीं कोई अतापता नहीं चल सका। सूत्रों के मुताबिक कई पुलिस टीमें गुपचुप तरीके से फरार एसडीएम की निशानदेही मे जुटी बतायी जाती है।

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