प्रतापगढ़ जनपद के कुंडा विधानसभा क्षेत्र से सपा प्रत्याशी गुलशन यादव ने किया नामांकन
- Posted By: MOHD HASNAIN HASHMI
- खबरें हटके
- Updated: 5 February, 2022 20:26
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प्रतापगढ
05.02.2022
रिपोर्ट--मो.हसनैन हाशमी
प्रतापगढ़ जनपद के कुंडा विधानसभा क्षेत्र से सपा प्रत्याशी गुलशन यादव ने किया नामांकन
वर्ष 1993 से रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया प्रतापगढ़ जिले की कुंडा विधानसभा सीट से लगातार निर्दलीय विधायक चुने जाते आ रहे हैं और सपा-बीजेपी के सहयोग से मंत्री भी बनते रहे। ऐसे में समाजवादी पार्टी ने पिछले ढाई दशक से कुंडा में राजा भैया के खिलाफ अपना कोई प्रत्याशी नहीं उतारा। वो राजा भैया का समर्थन करती रही। लेकिन, इस बार सपा ने उनके खिलाफ अपना प्रत्याशी चुनावी मैदान में उतार दिया है, जिससे राजा भैया के समक्ष चुनौती खड़ी हो गई है।समाजवादी पार्टी से पहली बार राजा भैया के खिलाफ चुनाव लड़ रहे गुलशन यादव ने भी आज अपना नामांकन पत्र दाखिल किया और उन्होंने कुंडा में बाहुबल का जवाब बाहुबल से देने के साथ-साथ राजा भैया से खुद को खतरा भी बताया और पुलिस के आला अधिकारियों से मदद भी मांगी। इस दौरान गुलशन यादव काफी उत्साहित नजर आए और उन्होंने कहा कि कुंडा की जनता त्रस्त हो गई है और यदि वह चुनाव जीतते हैं तो कुंडा को आदर्श विधानसभा के रूप में विकसित करने का पूरा प्रयत्न करेंगे। आपको बता दे कि कुंडा विधानसभा में राजा का वर्चस्व लगातार कायम है। लेकिन 20 साल बाद समाजवादी पार्टी ने राजा के खिलाफ पार्टी से प्रत्याशी मैदान में उतार दिया है। सपा से गुलशन यादव है तो वहीं भाजपा ने सिंधुजा मिश्रा को टिकट दिया है। यह अनुमान लगाया जा रहा है कि इस बार कुंडा विधानसभा में उलटफेर हो सकता है।राजा को चुनौती देने उतरे हैं मैदान पर:- रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया, प्रतापगढ़ की सियासत को पिछले तीन दशक से अपने हिसाब से चल रहे है। वो कुंडा सीट से निर्दलीय विधायक है, लेकिन इस बार राजा भैया के समक्ष अपने सियासी वर्चस्व को बचाए ऱखने की चुनौती है। दरअसल, राजा भैया को घेरने के लिए समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने उन्हीं के सारथी पर दांव लगाया है। जी हां अखिलेश ने कुंडा सीट पर राजा भैया के खिलाफ गुलशन यादव को चुनावी मैदान में उतारा है।
कौन है गुलशन यादव:- गुलशन यादव का जन्म प्रतापगढ़ जिले के कुंडा के मऊदारा गांव में हुआ है। गुलशन के पिता का नाम सुंदर लाल यादव है और वो तीन भाई है। गुलशन का छोटा भाई छविनाथ यादव समाजवादी पार्टी के प्रतापगढ के जिला अध्यक्ष हैं। गुलशन यादव ने अपने राजनीतिक सफर की शुरूआत राजा भैया के सानिध्य में रहकर की थी। करीबी दो दशक पहले मायावती सरकार में राजा भैया पर पोटा लगा था, जिसके गवाह राजेंद्र यादव थे। राजेंद्र की हत्या कर दी गई, जिसके बाद गुलशन यादव चर्चाओं में आए थे और जेल गए थे। बता दें, गुलशन यादव को एक वक्त राजा भैया के बेहद करीबियों में गिना जाता था। राजा भैया के सानिध्य में ही गुलशन यादव ने सियासत में कदम रखा और पहली बार मऊदारा के ग्राम प्रधान बने।प्रधान बनने के बाद गुलशन ने सियासत में पीछे मुड़कर नहीं देखा और वो 2011 में कुंडा से चेयरमैन बनने में कामयाब रहे। इसके बाद 2017 में गुलशन यादव जेल में रहते हुए कुंडा नगर पंचायत के चेयरमैन पद के चुनाव में अपनी पत्नी सीमा यादव को राजा भैया के प्रत्याशी के खिलाफ खड़ा कर जिताने में कामयाब रहे। बता दें, गुलशन की मां मऊदारा से ग्राम प्रधान हैं और उनके भाई छविनाथ करेटी गांव से प्रधान है। मऊदारा गांव के आसपास इलाके में गुलशन यादव की सियासी तूती बोलती है।वर्ष 1993 से रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया प्रतापगढ़ जिले की कुंडा विधानसभा सीट से लगातार निर्दलीय विधायक चुने जाते आ रहे हैं और सपा-बीजेपी के सहयोग से मंत्री भी बनते रहे। ऐसे में समाजवादी पार्टी ने पिछले ढाई दशक से कुंडा में राजा भैया के खिलाफ अपना कोई प्रत्याशी नहीं उतारा। वो राजा भैया का समर्थन करती रही। लेकिन, इस बार सपा ने उनके खिलाफ अपना प्रत्याशी चुनावी मैदान में उतार दिया है, जिससे राजा भैया के समक्ष चुनौती खड़ी हो गई है।
कौन है गुलशन यादव:- गुलशन यादव का जन्म प्रतापगढ़ जिले के कुंडा के मऊदारा गांव में हुआ है। गुलशन के पिता का नाम सुंदर लाल यादव है और वो तीन भाई है। गुलशन का छोटा भाई छविनाथ यादव समाजवादी पार्टी के प्रतापगढ के जिला अध्यक्ष हैं। गुलशन यादव ने अपने राजनीतिक सफर की शुरूआत राजा भैया के सानिध्य में रहकर की थी। करीबी दो दशक पहले मायावती सरकार में राजा भैया पर पोटा लगा था, जिसके गवाह राजेंद्र यादव थे। राजेंद्र की हत्या कर दी गई, जिसके बाद गुलशन यादव चर्चाओं में आए थे और जेल गए थे। बता दें, गुलशन यादव को एक वक्त राजा भैया के बेहद करीबियों में गिना जाता था। राजा भैया के सानिध्य में ही गुलशन यादव ने सियासत में कदम रखा और पहली बार मऊदारा के ग्राम प्रधान बने।प्रधान बनने के बाद गुलशन ने सियासत में पीछे मुड़कर नहीं देखा और वो 2011 में कुंडा से चेयरमैन बनने में कामयाब रहे। इसके बाद 2017 में गुलशन यादव जेल में रहते हुए कुंडा नगर पंचायत के चेयरमैन पद के चुनाव में अपनी पत्नी सीमा यादव को राजा भैया के प्रत्याशी के खिलाफ खड़ा कर जिताने में कामयाब रहे। बता दें, गुलशन की मां मऊदारा से ग्राम प्रधान हैं और उनके भाई छविनाथ करेटी गांव से प्रधान है। मऊदारा गांव के आसपास इलाके में गुलशन यादव की सियासी तूती बोलती है।वर्ष 1993 से रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया प्रतापगढ़ जिले की कुंडा विधानसभा सीट से लगातार निर्दलीय विधायक चुने जाते आ रहे हैं और सपा-बीजेपी के सहयोग से मंत्री भी बनते रहे। ऐसे में समाजवादी पार्टी ने पिछले ढाई दशक से कुंडा में राजा भैया के खिलाफ अपना कोई प्रत्याशी नहीं उतारा। वो राजा भैया का समर्थन करती रही। लेकिन, इस बार सपा ने उनके खिलाफ अपना प्रत्याशी चुनावी मैदान में उतार दिया है, जिससे राजा भैया के समक्ष चुनौती खड़ी हो गई है।
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