मंदिर में अमानवीयता की पराकाष्ठा: दलित बुजुर्ग को पेशाब चाटने के लिए मजबूर किया गया

मंदिर में अमानवीयता की पराकाष्ठा: दलित बुजुर्ग को पेशाब चाटने के लिए मजबूर किया गया

मंदिर में अमानवीयता की पराकाष्ठा: दलित बुजुर्ग को पेशाब चाटने के लिए मजबूर किया गया

इंसानियत शर्मसार! बीमारी के चलते हुई गलती पर मिली खौफनाक सजा, दलित बुजुर्ग को पेशाब चाटने को किया मजबूर।


काकोरी लखनऊ। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के काकोरी इलाके में एक मंदिर परिसर के भीतर एक दलित बुजुर्ग के साथ अमानवीय व्यवहार किए जाने का सनसनीखेज मामला सामने आया है। बुजुर्ग को अपनी बीमारी के कारण हुई एक गलती की खौफनाक सजा दी गई है। आरोपी पर बुजुर्ग को जातिसूचक गालियाँ देने और उन्हें फर्श पर पेशाब चाटने के लिए मजबूर करने का गंभीर आरोप है।

​क्या है पूरा मामला

​पीड़ित बुजुर्ग रामपाल (नाम बदला हुआ) के पोते ने बताया कि मंगलवार शाम को उनके दादाजी शीतला माता मंदिर परिसर में बैठे थे। उन्हें सांस लेने में तकलीफ है। खांसी आने के दौरान गलती से मंदिर की सीढ़ियों पर उनसे पेशाब छूट गया। आरोप है कि यह देखकर मंदिर समिति से जुड़ा एक दबंग स्वामीकांत उर्फ पम्मू गुप्ता मौके पर आया और उसने बुजुर्ग को जातिसूचक गालियाँ देना शुरू कर दिया। स्वामीकांत ने बुजुर्ग पर पेशाब करने का आरोप लगाया और उन्हें धमकाया।


​दबंग ने रामपाल को वह जगह साफ करने के लिए कहा और फिर हद पार करते हुए उन्हें फर्श पर गिरा अपना पेशाब चाटने को मजबूर किया। बुजुर्ग ने डर के मारे ऐसा कर दिया। इसके बाद आरोपियों ने उनसे वह जगह पानी से धुलवाई। बुजुर्ग ने रात में डर के कारण किसी को यह घटना नहीं बताई, लेकिन बुधवार को उन्होंने परिवार को पूरी बात बताई। इसके बाद पोते मुकेश कुमार ने पुलिस को शिकायत दी। पुलिस ने तुरंत कार्रवाई करते हुए आरोपी स्वामीकांत गुप्ता को हिरासत में ले लिया है और उसके खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है।


आरोपी दबंग गिरफ्तार, पुलिस ने शुरू की गहन जांच

​पुलिस ने कहा है कि आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है और मामले की गहनता से जांच की जा रही है। वहीं, आरोपी ने पुलिस पूछताछ में आरोपों को निराधार बताया है। उसका कहना है कि बुजुर्ग नशे में था और मंदिर परिसर में पेशाब कर रहा था, जिस पर उन्होंने टोका था। परिसर की धुलाई कराना और पेशाब चटवाने की बात झूठी है और उन्हें साजिश के तहत फंसाया जा रहा है। हालांकि, बुजुर्ग के परिवार की शिकायत के आधार पर पुलिस ने अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम के साथ-साथ अन्य संबंधित कानूनों के तहत मामला दर्ज किया है।

​यह कृत्य समाज के कमजोर वर्ग के प्रति संवेदनशीलता और सम्मान सुनिश्चित करने वाले कानूनों के विरुद्ध है, जो सामाजिक न्याय और समानता की रक्षा करते हैं। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है और मामले की गहनता से जांच शुरू कर दी है।

नेताओं ने की कड़ी निंदा


​इस घटना पर भीम आर्मी प्रमुख चंद्रशेखर और आम आदमी पार्टी (आप) के सांसद संजय सिंह ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। चंद्रशेखर ने इसे 'मानवता पर कलंक' बताते हुए उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में एक दलित बुजुर्ग को पेशाब चाटने को मजबूर करना मानवता पर कलंक है।

​आप सांसद संजय सिंह ने भी इस कृत्य की कड़ी निंदा करते हुए इसे 'जानवरों जैसा सलूक' बताया। उन्होंने कहा कि यह शर्मनाक है कि दलितों के साथ इस तरह का व्यवहार किया जा रहा है और सरकार चुप्पी साधे हुए है। पीड़ित बुजुर्ग से मिलने के लिए पूर्व भाजपा सांसद भी उनके घर पहुंचे और उनका हालचाल जाना। इस घटना ने एक बार फिर दलितों पर हो रहे अत्याचारों के मुद्दे को गरमा दिया है।

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